लाखों लोगों के आइकन बन चुके हैं पंकज त्रिपाठी
बिहार के एक छोटे से गांव में जन्मे एक्टर पंकज त्रिपाठी का सफर जुनून और बुलंद हौसले की मिसाल हैं. कई मुश्किलों को पार करते हुए पंकज ने बॉलीवुड फिल्म इंडस्ट्री में अपनी अलग पहचान बनाई और अब वह लाखों लोगों के आइकन बन चुके हैं. अपनी शानदार एक्टिंग के लिए पंकज त्रिपाठी ने कई अवॉर्ड जीते हैं. फिल्म ‘न्यूटन’ और ‘मिमी’ के लिए उन्हें बेस्ट सपोर्टिंग एक्टर का नेशनल फिल्म अवॉर्ड मिला, फिर ‘स्त्री’ के लिए बेस्ट सपोर्टिंग एक्टर का फिल्मफेयर अवॉर्ड और ‘लूडो’ के लिए बेस्ट सपोर्टिंग एक्टर का आईफा अवॉर्ड भी वह अपने नाम कर चुके हैं.
फिल्मी है लव लाइफ (Love Life is Filmy)
अब पंकज त्रिपाठी के करियर पर एक नजर डालते हैं उनकी पर्सनल लाइफ पर. एक वेडिंग फंक्शन में पंकज त्रिपाठी की मुलाकात हुई मृदुला से जो उनकी पत्नी हैं. उस वक्त पंकज त्रिपाठी 11वीं क्लास में और मृदुला 9वीं क्लास में पढ़ती थीं. पंकज त्रिपाठी को मृदुला से अपनी पहली मुलाकात आज भी याद है. उन्होंने एक इंटरव्यू में बताया था कि उनकी बहन की शादी 1993 में हुई थी. उस शादी में मृदुला को देखते ही पंकज त्रिपाठी ने मन ही मन उन्हें अपना जीवन साथी मान लिया था. हैरानी की बात है कि आप किसी का नाम भी नहीं जानते और उसके साथ अपनी पूरी जिंदगी बिताने का सपना देख लेते हैं. ऐसे सिर्फ फिल्मों में ही नहीं असली जिंदगी में भी होता है. पकंज त्रिपाठी ने बताया था कि वह नीचे खड़े थे और मृदुला छत पर. दोनों की नजरें ऐसे मिलीं कि आज तक वह एक-दूसरे के प्यार में हैं.
90s का प्यार (90s Love)
जैसा हम 90s की फिल्मों में देखते हैं कुछ वैसी ही लव स्टोरी है पंकज त्रिपाठी और मृदुला की. पंकज त्रिपाठी अक्सर बाहर ही रहा करते थे तो ऐसे में दोनों एक-दूसरे को खत लिखा करते थे. जब पंकज दिल्ली आए तो मृदुला ने तब भी उनका साथ नहीं छोड़ा. हालांकि, उस वक्त मृदुला के घरवाले उनकी शादी के लिए लड़का ढूंढ़ रहे थे. मगर मृदुला के मन में सिर्फ पंकज थे. शुरुआत में घरवालों ने नाराजगी जताई लेकिन आखिरकार उन्हें पंकज और मृदुला के प्यार को मानना ही पड़ा. बर फिर क्या था 15 जनवरी, 2004 को दोनों शादी के बंधन में बंध गए. स्ट्रगल के दिनों में मृदुला ने पंकज का बड़ा साथ दिया. Live Times Hindi News Channel | National Hindi News | Entertainment Hindi News
जब पंकज फिल्मों में अपनी किस्मत आजमाने के लिए जगह-जगह ऑडिशन देते थे तब मृदुला अपनी सैलरी से पूरा घर चलाती थीं. आपको बता दें कि मृदुला एक टीचर हैं. मगर कहते हैं कि मेहनत जरूर रंग लाती है. पंकज त्रिपाठी की मेहनत को जब मृदुला का साथ मिला तो वह बन गए हिंदी सिनेमा के बड़े स्टार.
Written By Preeti Pal